April 18, 2025

सीएम धामी ने किया राज्य स्तरीय खेल महाकुंभ-2022 का शुभारंभ

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देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने गुरूवार को महाराणा प्रताप स्पोर्ट्स कॉलेज, रायपुर, देहरादून में राज्य स्तरीय खेल महाकुंभ-2022 का शुभारंभ किया। इस अवसर पर उन्होंने 31 करोड़ की लागत से बने शूटिंग रेंज का लोकार्पण भी किया। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर राज्य के अन्तरराष्ट्रीय खिलाड़ियों एवं प्रशिक्षकों को नकद पुरस्कार धनराशि प्रदान की और उन्हें सम्मानित भी किया।

मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर घोषणा की कि खेल एवं युवा कल्याण विभाग द्वारा आयोजित की जाने वाली खेल प्रतियोगिताओं में खिलाड़ियों को भोजन के लिए दी जाने वाली धनराशि 150 रूपये से बढ़ाकर 225 रूपये की जायेगी। न्याय पंचायत स्तर पर आयोजित खेल प्रतियोगिताओं में प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय स्थान प्राप्त करने वाले बच्चों को क्रमशः 300 रूपये, 200 रूपये एवं 150 रूपये की धनराशि दी जायेगी। विकासखण्ड स्तर पर प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय स्थान प्राप्त करने वालों को क्रमशः 500 रुपये, 400 रुपये एवं 300 रुपये की धनराशि दी जायेगी, जो पहले क्रमशः 300 रुपये, 200 रुपये एवं 150 रुपये थी। जनपद स्तर पर प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय स्थान प्राप्त करने वालों को क्रमशः 800 रुपये, 600 रुपये एवं 400 रुपये की धनराशि दी जायेगी, जो पहले क्रमशः 700 रूपये, 500 रूपये एवं 300 रुपये थी। राज्य स्तर पर प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय स्थान प्राप्त करने वालों को क्रमशः 1500 रूपये, 1000 रूपये एवं 700 रुपये की धनराशि दी जायेगी, जो पहले क्रमशः 1000 रुपये, 600 रुपये एवं 400 रुपये थी।

मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि राज्य स्तर पर आयोजित होने वाला यह खेल महाकुंभ उत्तराखण्ड के युवा खिलाड़ियों को अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन करने के लिए एक उत्कृष्ट मंच प्रदान करेगा। पहले पंचायत स्तर पर फिर ब्लॉक स्तर पर फिर जिला स्तर पर खेलने के पश्चात खिलाड़ी यहां पर अपनी खेल प्रतिभा का प्रदर्शन करेंगे। उन्होंने कहा कि यह गौरव का विषय है कि इस खेल महाकुंभ में हमारे प्रदेश की बेटियां भी बढ़-चढ़कर हिस्सा ले रही हैं। उन्होंने कहा कि यह युवाओं की प्रतिभा का ही कमाल है कि, आज विश्व पटल पर नए भारत का मान बढ़ रहा है। आज हमारे युवा खिलाड़ियों द्वारा विभिन्न खेलों में राष्ट्रीय एवं अन्तरराष्ट्रीय स्तर पर भारत के सामर्थ्य का परिचय कराया जा रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि इस खेल महाकुंभ का उद्देश्य खिलाड़ियों को आगामी 38वें राष्ट्रीय खेलों के लिए भी तैयार करना है। 38वें राष्ट्रीय खेल की मेजबानी उत्तराखण्ड करेगा। जिससे राज्य के युवाओं को अपनी प्रतिभा को दिखाने का मौका मिलेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के मार्गदर्शन में राज्य सरकार उत्तराखंड को “सर्वश्रेष्ठ उत्तराखण्ड“ बनाने हेतु प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही है। राज्य सरकार सरकार युवाओं को बेहतर शिक्षा और बेहतर खेल सुविधायें प्रदान करने के लिए कृत संकल्पित है। उत्तराखण्ड देश का पहला राज्य है जिसने जहां एक ओर नई शिक्षा नीति को प्रभावकारी ढंग से लागू करने का काम किया है, वहीं दूसरी ओर नई खेल नीति बनाकर अपने युवा खिलाड़ियों का भी ध्यान रखने का कार्य किया है। नई खेल नीति में खिलाड़ियों को प्रोत्साहित करने के लिए हर संभव सुविधा उपलब्ध कराने के प्रयास किये गये हैं। खिलाड़ियों के लिए नौकरियों में खेल कोटा भी पुनः प्रारंभ करने का निर्णय लिया है। उन्होंने आशा व्यक्त की कि इस खेल महाकुंभ में प्रतिभाग कर रहे हमारे युवा खिलाड़ी भविष्य में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उत्तराखण्ड व देश का नाम रोशन करेंगे।

खेल मंत्री श्रीमती रेखा आर्या ने कहा कि अब समाज में खेल एवं खिलाड़ियों के प्रति सोच में बड़ा परिवर्तन हुआ है। खेलों से भी उपलब्धि हांसिल की जा सकती है, जैसे शिक्षा के माध्यम से की जा सकती है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में राज्य में खेलों को तेजी से बढ़ावा दिया जा रहा है। न्याय पंचायत स्तर से राज्य स्तर तक खेल प्रतिभाओं को आगे लाया जा रहा है। मुख्यमंत्री उत्कृष्ट खिलाड़ी उन्नयन योजना से खिलाड़ी लाभान्वित हो रहे हैं। 2024 में उत्तराखण्ड में होने वाले 38वें राष्ट्रीय खेलों की तैयारी तेजी से चल रही है।

विधायक श्री उमेश शर्मा काऊ ने कहा कि राज्य में मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में खेलों को नई ऊंचाई देने के लिए सराहनीय प्रयास किये जा रहे हैं। उन्होंने राज्य स्तरीय खेल महाकुंभ में प्रतिभाग करने वाले सभी खिलाड़ियों को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि खेल में अनुशासन एवं जीत के लिए लक्ष्य बनाकर प्रतिभाग करें।

इस अवसर पर ब्लॉक प्रमुख रायपुर श्रीमती ममता देवी, खेल निदेशक श्री जितेन्द्र कुमार सोनकर, अपर निदेशक श्री राकेश चन्द्र डिमरी, खेल विभाग के अन्य अधिकारी एवं खिलाड़ी उपस्थित थे।

बड़कोट-सिल्कयारा बेंड टनल परियोजना की सफलता: उत्तराखंड के लिए ऐतिहासिक क्षण देहरादून: एक ऐतिहासिक उपलब्धि के रूप में, एनएच-134 पर एक प्रमुख बुनियादी ढांचे की उपलब्धि, बड़कोट -सिलक्यारा बेंड टनल परियोजना की सफलता की आधिकारिक तौर पर घोषणा की गई। इस अवसर पर उत्तराखंड के माननीय मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी और सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के माननीय राज्य मंत्री श्री अजय टम्टा, टनल निर्माण कार्य के सफल समापन को देखने के लिए उपस्थित थे। प्रमुख इंजीनियरिंग और डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर कंसल्टिंग कंपनी रोडिक कंसल्टेंट्स ने इस परियोजना में निर्माण पर्यवेक्षण सलाहकार (Construction Supervision Consultant) की भूमिका निभाई। कंपनी ने टनल निर्माण के सभी चरणों को समय पर और उच्च गुणवत्ता के साथ पूरा कराने में अहम योगदान दिया। अपनी जिम्मेदारियों के तहत, रोडिक ने निर्माण कार्यों की निगरानी की और डिजाइन फाइनल करने, सुरक्षा उपायों और इंजीनियरिंग मानकों जैसे महत्वपूर्ण पहलुओं पर एनएचआईडीसीएल और ठेकेदार को सलाह दी। रोडिक कंसल्टेंट्स ने सीमेंट, कंक्रीट और एग्रीगेट्स के लिए ऑन-साइट परीक्षणों की देखरेख की और स्प्रेड कंक्रीट और रॉक बोल्ट्स के फील्ड टेस्ट किए, जिससे सख्त गुणवत्ता नियंत्रण सुनिश्चित किया गया। संगठन ने जनशक्ति और मशीनरी के उपयोग को बेहतर बनाने में भी अहम भूमिका निभाई, ताकि कार्यस्थल पर सुरक्षा और दक्षता बनी रहे। डिजिटल नवाचार को अपनाते हुए, रोडिक ने एक डिजिटल रिक्वेस्ट फॉर इंस्पेक्शन (RFI) सिस्टम और प्रोजेक्ट डेटा प्रबंधन का डिजिटलीकरण किया, जिससे साइट पर पारदर्शिता, दक्षता और गुणवत्ता में उल्लेखनीय सुधार हुआ। नई उपलब्धि पर बोलते हुए रोडिक कंसल्टेंट्स के चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर श्री राज कुमार ने कहा, “हमें बड़कोट -सिल्कयारा बेंड टनल परियोजना की सफलता में अपनी अहम भूमिका पर गर्व है। निर्माण पर्यवेक्षण सलाहकार के रूप में, रोडिक ने पूरे निर्माण कार्य में इंजीनियरिंग गुणवत्ता, सुरक्षा और उत्कृष्टता के सर्वोच्च मानकों को सुनिश्चित किया। हमारी टीम ने परियोजना डेटा के डिजिटलीकरण और डिजिटल आरएफआई सिस्टम जैसे नवाचारों के ज़रिए काम की पारदर्शिता और कार्यक्षमता को बेहतर बनाया। हम मानते हैं कि यह केवल एक निर्माण उपलब्धि नहीं, बल्कि हर मौसम में बेहतर कनेक्टिविटी, क्षेत्रीय विकास और स्थानीय समुदायों के लिए एक मजबूत भविष्य की दिशा में एक बड़ा कदम है। हम भारत सरकार, एनएचआईडीसीएल और अपने सभी प्रोजेक्ट सहयोगियों का उनके निरंतर सहयोग और विश्वास के लिए आभार व्यक्त करते हैं।” इस दिन नवनिर्मित बाबा बौखनाग मंदिर की प्राण-प्रतिष्ठा भी की गई। 4.531 किलोमीटर लंबी यह दो लेन की एकतरफा टनल एनएच-134 (पुराना एनएच-94) पर धरासू और यमुनोत्री के बीच हर मौसम में कनेक्टिविटी देने के लिए बनाई गई है। यह टनल यात्रा का समय एक घंटे से घटाकर सिर्फ़ पाँच मिनट कर देती है, जिससे इस क्षेत्र में व्यापार, पर्यटन और सामाजिक-आर्थिक विकास को बढ़ावा मिलेगा और साथ ही पर्यावरण के लिहाज से संवेदनशील जंगलों की भी सुरक्षा होगी। इस अवसर पर बोलते हुए, श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि बड़कोट-सिल्कयारा बेंड टनल की सफलता उत्तराखंड के लिए एक ऐतिहासिक क्षण है। उन्होंने यह भी बताया कि पिछले दस वर्षों में पूरे देश में निरंतर विकास हुआ है और उत्तराखंड उस यात्रा में गर्व से योगदान दे रहा है। माननीय मुख्यमंत्री ने विकास और समृद्धि के नए आयाम स्थापित करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के दूरदर्शी नेतृत्व, मार्गदर्शन और सहयोग के लिए उनका आभार भी व्यक्त किया। सभा को संबोधित करते हुए, श्री अजय टम्टा ने टनल के निर्माण की सफलता के लिए सभी को बधाई दी। उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि माननीय प्रधानमंत्री और माननीय मुख्यमंत्री के कुशल नेतृत्व में, इस परियोजना ने बहुत तेज़ी से प्रगति की है और उत्तराखंड के विकास की गति को पहले से कहीं ज़्यादा तेज़ कर दिया है। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड उल्लेखनीय प्रगति देख रहा है, और चार धाम मार्ग पर सिंगल-लेन सड़कों का दो-लेन राजमार्गों में रूपांतरण एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। टनल के निर्माण के बाद, परियोजना अब अंतिम चरण में प्रवेश कर रही है, जिसमें सड़क निर्माण और विद्युत तथा यांत्रिक प्रणालियों की स्थापना शामिल है। बड़कोट-सिल्कयारा बेंड टनल आधुनिक इंजीनियरिंग उत्कृष्टता और विभिन्न एजेंसियों के सहयोग का उदाहरण है।

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